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गृहमंत्री देशमुख को मंत्रिमंडल से निष्कासित करें सीएम: पाटील

मुंबई: भाजपा प्रदेश अध्यक्ष चंद्रकांत पाटील ने मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे से प्रदेश के गृह मंत्री अनिल देशमुख को राज्य मंत्रिमंडल से निष्कासित करने की मांग की है। पाटील ने पालघर की घटना को लेकर राज्यपाल भगतसिंह कोश्यारी, मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे और उपमुख्यमंत्री अजित पवार को पत्र भेजा है। मंगलवार को पाटील ने कहा कि पुलिस की मौजूदगी में दो साधुओं की भीड़ द्वारा हत्या की घटना अत्यंत धक्कादायक और खेदजनक है।
पाटील ने कहा कि राज्य में बार-बार कानून व्यवस्था की समस्या पैदा हो रही है। मुख्यमंत्री देशमुख को राज्य मंत्रिमंडल से निष्कासित करें। इस घटना की निष्पक्ष जांच कर दोषियों के खिलाफ कार्रवाई करें। उन्होंने कहा कि घटना स्थल पर उपस्थित रहने के बावजूद साधुओं को बचाने में असमर्थ दिखने वाले पुलिस कर्मचारियों के खिलाफ भी कार्रवाई होनी चाहिए। पाटील ने कहा कि राज्य में पिछले कई दिनों में गंभीर घटनाएं हुई हैं।
ठाणे निवासी अनंत करमुसे के साथ राज्य के गृहनिर्माण मंत्री जितेंद्र आव्हाड के बंगले में मारपीट हुई। लॉकडाउन का उल्लंघन करते हुए वधावन परिवार के 23 लोगों को महाबलेश्वर जाने के लिए गृह विभाग के प्रमुख सचिव (विशेष) अमिताभ गुप्ता ने पत्र दे दिया।
लॉकडाउन के चलते कर्फ्यू लागू होने पर भी मुंबई के बांद्रा पश्चिम रेलवे स्टेशन पर हजारों लोगों की भीड़ जमा हो गई। अब पालघर की घटना हुई है। इसलिए मुख्यमंत्री देशमुख को मंत्रिमंडल से हटाकर सभी घटनाओं की जांच कराएं। पाटील ने कहा कि साधुओं के हत्या के मामले में केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने स्वतः जानकारी हासिल की। विपक्ष ने आवाज उठाई और सोशल मीडिया पर सरकार के अपमानित होने के बाद मुख्यमंत्री ने राज्य की जनता से संवाद साधा।
मुख्यमंत्री ठाकरे को इस गंभीर घटना के तुरंत बाद खुद ही जनता से संवाद करना चाहिए था लेकिन मुझे खेद है कि मुख्यमंत्री घटना के चार दिन बाद जनता के सामने आए।

यह समय किसी से इस्तीफा मांगने का नहीः पवार
वहीँ राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) प्रमुख शरद पवार ने कहा है कि पालघर में जो हुआ, वह नहीं होना चाहिए था। कुछ असमाजिक तत्वों के कृत्य के चलते यह समय मंत्रियों के इस्तीफा मांगने का नहीं है।
मंगलवार को सोशल मीडिया के माध्यम से लोगों से संवाद साध रहे शरद पवार ने यह बात कही। उन्होंने कहा कि आज कोरोना संकट को मात देने सभी को एकजुट होने की जरुरत है। यह समय संघर्ष का नहीं है। हमें इस बात का ध्यान रखना होगा कि हमारी पहली प्राथमिकता इस महामारी से जंग है। पवार ने कहा कि कोरोना मरीजों की बढ़ती संख्या को देखते हुए राज्यभर में चिंता बढ़ रही है।
गृहमंत्री अनिल देशमुख का बचाव करते हुए राकांपा सुप्रीमो ने भाजपा को सलाह दी कि यह वक्त इस्तीफा मांगने का नहीं है। उन्होंने कहा कि पूरी दुनिया कोरोना के संकट से परेशान है। अमेरिका जैसे संपन्न देश में मृतकों की संख्या 40 हजार 683 तक पहुंच गई है। भारत में अभी तक 590 लोगों की जान गई है। देश की तुलना में केवल महाराष्ट्र में ही कोरोना संक्रमण से 223 लोगों की मौत चिंताजनक है। उन्होंने कहा कि राज्य के मुंबई, पुणे, ठाणे, कल्याण-डोंबिवली में कोरोना मरीजों की बढ़ती संख्या को रोकने की जरुरत है। इसके लिए सख्ती जरुरी है। इस दौरान पवार ने प्रशासन की तारीफ करते हुए पवार ने कहा कि महाराष्ट्र ने लातूर भूकंप, मुंबई दंगा, मुंबई में सीरियल बम विस्फोट जैसी घटनाओं का सामना किया है। मुश्किल समय में हमेशा पुलिस-प्रशासन ने अपनी कार्यकुशलता दिखाई है। उन्होंने मुस्लिम समाज से अपील कि है की रमजान के दौरान घर में ही नमाज पढ़े और रोजा इफ्तार करें।