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BMC: परदेशी का तबादला, इकबाल सिंह चहल बने मनपा के नए आयुक्त

मुंबई: मुंबई में लगातार तेजी से बढ़ रहे कोरोना के कहर को देखते हुए सूबे के मुखिया उद्धव ठाकरे ने कड़क फैसला लेते हुए बृहन्मुम्बई महानगरपालिका आयुक्त प्रवीण परदेशी का तबादला कर दिया है उनके साथ ही कई अन्य आयएएस अधिकारियों का भी तबादला किया गया है।
मुंबई मनपा आयुक्त प्रवीण परदेशी को नगरविकास विभाग में अपर सचिव के पद पर भेजा गया है जबकि उनकी जगह पर नगरविकास के मुख्य सचिव इकबाल सिंह चहल को मुंबई मनपा का नया आयुक्त बनाया गया है।

वहीं अश्विनी भिड़े को अतिरिक्त आयुक्त नियुक्त किया गया है। दूसरे अतिरिक्त आयुक्त आबासाहेब जराड का मदद पुनर्वसन सचिव के रूप में तबादला किया गया। उनकी जगह पर प्रतीक्षा में बैठे ठाणे के पूर्व मनपा आयुक्त संजीव जायसवाल को नियुक्त किया गया है।
सार्वजनिक निर्माण कार्य के अतिरिक्त मुख्य सचिव मनोज सैनिक को वित्त सचिव पद पर मिला है। मदद पुनर्वसन के पद पर कार्यरत किशोर राजे निम्बालकर को सार्वजनिक निर्माण सचिव के पद पर नियुक्त किया गया है।

सायन अस्पताल का हैरान करने वाला वीडियो हुआ था वायरल
मुंबई के सायन अस्पताल का एक हैरान करने वाला वीडियो तेजी से वायरल हुआ। वीडियो में दिख रहा है कि वॉर्ड में मरीजों के बीच कई शव रखे गए हैं और अस्पताल के वॉर्ड में कई मरीज बेड पर लेटे हैं। जहां उनका इलाज भी चल रहा है। मरीजों के बीच में काले प्लास्टिक के बैगों में कोरोना पॉजिटिव मरीजों के शव भी वॉर्ड के बेडों पर रखे हैं। कुछ शवों को कपड़ों से तो कुछ कंबल से ढका गया है। बताया जा रहा है कि वॉर्ड में मरीजों के बीच कई ऐसे शव पड़े थे। वीडियो में सायन अस्पताल का कोविड-19 चिकित्सा वार्ड दिख रहा है।
वीडियो सामने आने के बाद बृहन्मुंबई महानगरपालिका की महापौर किशोरी पेडणेकर ने गुरुवार को इस घटना की जांच के आदेश दिए थे। मुंबई की इतनी भयावह स्थिति के बावजूद बीएमसी अस्पताल में लापरवाही की घटना को भी इस तत्काल तबादले से जोड़कर देखा जा रहा है।

यहां प्रवीण परदेशी के तबादले को राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फड़नवीस के करीबी होने का भी एक बड़ा कारण माना जा रहा है। क्योंकि मनपा आयुक्त पद पर उनकी नियुक्ति देवेंद्र फड़नवीस के कार्यकाल में ही हुई थी। इससे पहले भी महाराष्ट्र शासन में प्रधान सचिव एवं अतिरिक्त मुख्य सचिव रहते हुए वह फड़नवीस के करीबी माने जाते थे।
बता दें कि मुंबई महानगरपालिका पर पिछले 30 वर्षों से शिवसेना की ही सत्ता है। 2014 में राज्य में भाजपा सरकार बनने के बाद शिवसेना और भाजपा में मुंबई महानगरपालिका पर कब्जे को लेकर भी बड़ा संघर्ष हुआ। लेकिन मनपा चुनाव में शिवसेना ही अव्वल रही। लेकिन राज्य सरकार में भाजपा का वर्चस्व था, इसलिए तत्कालीन मुख्यमंत्री देवेंद्र ने बीएमसी की कमान अपने चहेते अफसर प्रवीण परदेशी को सौंप दी। वैसे प्रवीण सक्षम अधिकारी माने जाते हैं। आपात स्थितियों से निपटने का भी उनका अनुभव अच्छा रहा है।
1992-93 में लातूर भूकंप के बाद वहां के जिलाधिकारी के रूप में वह राहत एवं पुनर्वास का काम संभाल चुके हैं, लेकिन कोरोना संकट के दौरान मुंबई में रोगियों की संख्या लगातार बढ़ती जा रही है। माना जा रहा है कि इन खामियों का ठीकरा किसी बड़े अधिकारी के सिर फोड़ने के लिए ही इस दौर में प्रवीण परदेशी को स्थानांतरित किया गया है।

सायन अस्पताल में मरीजों के बीच में काले प्लास्टिक के बैगों में पॉजिटिव मरीजों के शव

बीजेपी नेता किरीट सोमैया का दावा- मरीज ने अस्पताल से लगाई छलांग
एक दूसरी घटना का जिक्र करते हुए भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) नेता किरीट सोमैया ने महाराष्ट्र की उद्धव सरकार पर कोरोना मरीजों का ठीक से ध्यान नहीं रखे जाने का आरोप लगाया है। किरीट सोमैया ने सोशल मीडिया पर एक वीडियो शेयर किया है, जिसमें अस्पताल से एक मरीज छलांग लगाता दिखाई दे रहा है। किरीट सोमैया ने दावा किया है कि यह वीडियो मुंबई के सायन अस्पताल का है।
किरीट सोमैया ने ट्वीट किया- सायन हॉस्पिटल में कोरोना वार्ड 5 का एक और वीडियो। कोरोना वायरस से पीड़ित एक मरीज 3 मई की रात 9.25 बजे खिड़की से कूद गया। बाद में अस्पताल के सुरक्षागार्डों ने उसे वापस लाया। यह वही वार्ड है, जहां शवों को मरीजों के साथ रखा गया था। ”वाह रे ठाकरे सरकार।”

बीजेपी नेता किरीट सोमैया ने एक दुसरे ट्वीट में कहा है कि ठाकरे सरकार के कारण मुंबई कोरोना की राजधानी बन गई है। और अब प्रवीण परदेसी को ‘बलि का बकरा’ बनाया जा रहा है।
उन्होंने कहा कि यह जिम्मेदारी पॉलिटकल लीडर को लेनी चाहिए। मुंबई के दो पालकमंत्री में एक वर्ली से हैं, जो मुंबई क्या हिन्दुस्तान का सबसे ख़राब कोरोनाग्रस्त क्षेत्र है।