उत्तर प्रदेशदिल्लीब्रेकिंग न्यूज़राजनीतिशहर और राज्य ..अब आजम पर ED ने कसा शिकंजा, कथित तौर पर जमीन हड़पने का मामला 1st August 2019 networkmahanagar 🔊 Listen to this नयी दिल्ली, यूपी सरकार द्वारा हाल ही में भू-माफिया घोषित किए गए एसपी के दिगज्ज नेता (सांसद) आजम खान पर अब प्रवर्तन निदेशालय का भी शिकंजा कस गया है। प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने यूपी में कथित तौर पर जमीन हड़पने के कई मामलों को लेकर केस दर्ज किया है। अधिकारियों ने गुरुवार को यह जानकारी दी।अधिकारियों ने बताया कि एजेंसी ने राज्यसभा सांसद के खिलाफ यूपी पुलिस द्वारा दर्ज की गई कम से कम 26 FIR का संज्ञान लेते हुए उनके खिलाफ इनफोर्समेंट केस इन्फर्मेशन रिपोर्ट (ECIR) दर्ज किया है। दरअसल, ED की ECIR पुलिस FIR के समतुल्य होती है। आजम खान और अन्य के खिलाफ प्रिवेंशन ऑफ मनी लॉन्ड्रिंग ऐक्ट की धाराओं के तहत केस दर्ज किया है। चोरी की किताबों का आरोप, आजम की सफाईआजम खान जिस गौहर यूनिवर्सिटी के चांसलर हैं, वहां यूपी पुलिस ने मंगलवार को छापा मारा था। छापे में यूनिवर्सिटी की लाइब्रेरी में कथित तौर पर एक मदरसे से चोरी हुईं किताबें भी मिली थीं। छापेमारी के दौरान जांच में बाधा पहुंचाने को लेकर आजम के विधायक बेटे अब्दुल्ला आजम को बुधवार को पुलिस ने सरकारी काम में बाधा डालने के आरोप में हिरासत में लिया था। बाद में उन्हें छोड़ दिया गया। गुरुवार को अब्दुल्ला आजम अपने समर्थकों के साथ धारा 144 का उल्लंघन करते हुए सड़क पर उतरे थे, जिसके बाद पुलिस ने उन्हें दोबारा हिरासत में ले लिया।बता दें कि यूपी पुलिस ने जमीन हड़पने के आरोप में आजम खान के खिलाफ 26 मामले दर्ज किए हैं। इसमें जौहर यूनिवर्सिटी के लिए किसानों की जमीन हड़पने का केस भी शामिल है। यूपी सरकार ने उनका नाम भू-माफिया की लिस्ट में भी शामिल कर लिया है। आजम खान और उनके एक सहयोगी के खिलाफ रामपुर के 26 किसानों की 5 हजार हेक्टेयर जमीन हड़पकर मोहम्मद अली जौहर विश्वविद्यालय के निर्माण में इस्तेमाल करने का संगीन आरोप है।एफआईआर के अनुसार, आजम खान और उनके करीबी सहयोगी अलेहसन खान नाम के एक पूर्व पुलिस अधिकारी ने कथित तौर पर 26 किसानों से जमीन हड़प ली और इस जमीन का उपयोग एसपी नेता ने अपनी करोड़ों की मेगा प्रॉजेक्ट- मोहम्मद अली जौहर विश्वविद्यालय के निर्माण में किया। राजस्व विभाग की एफआईआर के बाद रामपुर के 26 किसान, जिन्हें कथित रूप से जाली भूमि बिक्री विलेख पर हस्ताक्षर करने के लिए प्रताड़ित किया गया था, अब अलग-अलग एफआईआर दर्ज कराएंगे। Post Views: 185