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मिर्गी को लेकर सरकार को भी आगे आकर मरीजों की मदद करने की जरुरत

मुंबई , मिर्गी (एपिलेप्सी) को लेकर आज भी लोगों के मन में काफी भ्रांतियां हैं। डॉक्टरों की मानें तो जितनी जल्दी इस समस्या का पता चल जाए, उतनी जल्दी न केवल इसे नियंत्रित किया जा सकता है, बल्कि इसे हमेशा के लिए पूरी तरह से ठीक भी किया जा सकता है।
इस बीमारी के प्रति लोगों को जागरूक करने के लिए हर साल 26 मार्च ‘पर्पल डे’ के रूप में मनाया जाता है। मंगलवार को पर्पल-डे के मौके पर मुंबई में इसकी संस्थापक कैसिडी मेगन उपस्थित रहीं। उन्होंने इस बीमारी को लेकर न केवल जागरूकता बढ़ाने पर जोर देने की बात कही, बल्कि इसके लिए सरकार को भी आगे आकर मरीजों की मदद करने की वकालत की। बता दें कि मूल रूप से कनाडा की रहने वाली कैसिडी मेगन 6 साल की थीं, जब उन्हें मिर्गी के दौरे पड़े थे। इसके बाद न केवल उनके दोस्त उनसे दूर रहने लगे, बल्कि कई तरह की सामाजिक समस्याओं का भी उन्हें सामना करना पड़ा। नतीजतन लोगों को इस बीमारी के प्रति जागरूक करने के लिए उन्होंने 9 साल की उम्र में पर्पल डे फाउंडेशन बनाया।
एपिलेप्सी फाउंडेशन (इंडिया) के संस्थापक डॉ.निर्मल सूर्या ने बताया कि पिछले 6 सालों में हमने अपने फाउंडेशन की मदद से 76 कैंप आयोजित कर 28 हजार से अधिक मरीजों की जांच की है। बता दें कि मंगलवार को एपिलेप्सी फाउंडेशन ने लोगों को जागरूक करने के लिए एक विशेष कवर भी लॉन्च किया।