महाराष्ट्रमुंबई शहरशहर और राज्य मुंबई के एक परिवार को 22 साल बाद वापस मिला सोना, कीमत हुई आठ करोड़! 12th January 2022 networkmahanagar 🔊 Listen to this मुंबई: मुंबई में रहने वाले एक परिवार को उसका 22 साल पहले चोरी हुआ सोना वापस मिल गया है। मजे की बात ये है कि इन 22 वर्षों में इस सोने की कीमत बढ़कर 8 करोड़ रुपए हो गई है। आप सोच रहे होंगे कि क्या चोरी करने वाले चोरों ने परिवार को यह सोना वापस कर दिया। जी नहीं, सोने को पुलिस ने चोरों से तभी बरामद कर लिया था, लेकिन कानूनी पचड़ों के कारण यह सोना परिवार को नहीं मिल सका। अब जाकर कोर्ट ने इस मामले पर अंतिम फैसला सुनाया है। 22 सालों में सोने की कीमत हुई 8 करोड़ रुपए! आपने Charagh Din नामक फैशन ब्रांड का नाम तो जरूर सुना होगा। फैशन इंडस्ट्री में Charagh Din एक जाना पहचाना नाम है। यह सोना इसी कंपनी के मालिक का था। सत्र न्यायाधीश यू जे मोरे ने 5 जनवरी को सोने के असली मालिकों को सोना वापस करने का फैसला सुनाया। इस खजाने में रानी विक्टोरिया की तस्वीर वाला एक सोने का सिक्का, 2 सोने के कंगन और 1,300 ग्राम और 200 मिलीग्राम वजन के दो सिल्लियां भी थी, जिनकी 22 साल पहले कुल कीमत 13 लाख रुपए थी जो अब बढ़कर 8 करोड़ रुपए हो गई है। 1998 में दासवानी के घर हुई थी चोरी बता दें कि 8 मई 1998 को हथियार से लैस कुछ लुटेरे अर्जुन दासवानी के घर घुस गए थे और सारा सोना लूटकर भाग गए थे। पुलिस ने इस मामले में तीन लोगों को गिरफ्तार किया था और उनसे यह सोना भी बारमद किया था। इस मामले के तीन आरोपी अभी भी फरार है। वहीं, अर्जन दासवानी की 2007 में मौत हो गई। सोने को पुलिस कस्टडी में रखने का अब कोई मतलब नहीं: कोर्ट इस पूरे सोने को Charagh Din कंपनी के संस्थापक अर्जुन दासवानी के बेटे राजू दासवानी को सौंप दिया गया। लोक अभियोजक इकबाल सोलकर और कोलाबा पुलिस के निरीक्षक संजय डोनर ने कहा कि उन्हें कुछ शर्तों के अधीन संपत्ति वापस करने में कोई आपत्ति नहीं है। राजू दासवानी ने इस संपत्ति से जुड़े दस्तावेज कोर्ट में पेश किये, जिसके आधार पर इस बात की पुष्टि हुई कि यह सोना उन्हीं का है। न्यायाधीश ने अपने फैसले में कहा कि इस संपत्ति को पुलिस कस्टडी में रखने का कोई मतलब नहीं है। 19 साल से अधिक समय बीत चुका है। दो फरार आरोपियों कि गिरफ्तारी में इतने सालों में कोई प्रगति नहीं हुई है। अगर कोई शिकायतकर्ता अपनी संपत्ति वापस लेने के लिए सालों साल तक इंतजार करता रहेगा तो यह न्याय का मजाक और कानून की प्रक्रिया का दुरुपयोग होगा। इसलिए सुंदरबाई अंबाला देसाई के मामले में निर्धारित अनुपात को ध्यान में रखते हुए, आवेदक आवेदन में दावा की गई सभी संपत्तियों की वापसी का हकदार है। Post Views: 190