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Mumbai: 19 साल से दे रहा था चकमा; आखिरकार चढ़ा एंटॉपहिल पुलिस के हत्थे!

मुंबई: मुंबई पुलिस ने एक ऐसे भगोड़े आरोपी को गिरफ्तार करने में सफलता हासिल की है जो पिछले 19 साल से पुलिस को चकमा दे रहा था। आरोपी अपनी पहचान छिपाकर नाव पर काम कर रहा था। वह कभी-कभार अपने रिश्तेदारों से मिलने मुंबई आते थे। गिरफ्तार आरोपी की पहचान प्रकाश अनंत सुर्वे (57) के रूप में हुई है और वह सायन-कोलीवाड़ा स्थित प्रतीक्षा नगर के चाली का रहने वाला था। उसके खिलाफ गंभीर चोट पहुंचाने और धमकी देने का मामला दर्ज किया गया था।
प्रथम श्रेणी न्यायिक मजिस्ट्रेट, 61वीं अदालत, कुर्ला द्वारा प्रकाश सुर्वे के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी किया गया था। वह वारंट एंटॉपहिल पुलिस स्टेशन को प्राप्त हुआ था। उन वारंटों की तामील करने और फरार आरोपियों की पतासाजी के लिए एक विशेष टीम का गठन किया गया था और विशेष जांच दल ने आरोपियों का पता लगाने के लिए पुराने दस्तावेजों की जांच की। इसमें उनके दोस्तों और रिश्तेदारों के बारे में जानकारी मिली। इसके अलावा जब प्रतीक्षा नगर इलाके में जहां वह रह रहा था, वहां उसकी जांच की गई तो पता चला कि वह कई सालों से वहां नहीं आया है। जांच टीम के पुलिस उपनिरीक्षक अराफात सिद्दीकी और पुलिस कांस्टेबल महेश भोसले प्रतीक्षा नगर चाल नं. 203 के निवासियों को विश्वास में लेकर जानकारी प्राप्त की गई तो पता चला कि चाली, जहां आरोपी रह रहा था, वहां के नागरिकों को डोंगरी के उमरखाली इलाके में अस्थायी आवास की व्यवस्था की गई थी। इसके मुताबिक, जब पुलिस टीम ने जांच की तो पता चला कि उसके रिश्तेदार वहां रह रहे हैं। वहां जानकारी मिलने पर भगोड़ा आरोपी प्रकाश अनंत सुर्वे बोट (नाव) पर काम करता है और वह कुछ दिनों के लिए ही मुंबई में अपने रिश्तेदारों के पास आता है। पुलिस को शक था कि सुर्वे दिवाली पर अपने रिश्तेदारों से मिलने जरूर आएगा। इसलिए उन्होंने वहां घर पर नजर रखी, लेकिन वह घर नहीं आया। 8 नवंबर को गोपनीय सूचना मिली कि सुर्वे अपने रिश्तेदारों से मिलने आएंगे। इसी के तहत तड़ीपार टीम ने उमरखाली इलाके में जाल बिछाया और आरोपी प्रकाश सुर्वे से मिलता-जुलता एक शख्स वहां आया। जिसके बाद संदेह के आधार पर उसे हिरासत में लिया गया। पुलिस को जांच में पता चला कि वह प्रकाश सुर्वे ही है। इसके बाद वरिष्ठ पुलिस निरीक्षक को इसकी जानकारी देने के बाद सुर्वे को इस मामले में दोबारा गिरफ्तार कर लिया गया। पुलिस के अनुसार, सुर्वे 19 साल तक पुलिस से बचता रहा। आखिरकार पुलिस इस मामले में उसे गिरफ्तार करने में सफल रही है।