नागपुरब्रेकिंग न्यूज़महाराष्ट्रमुंबई शहरराजनीतिशहर और राज्य परप्रांतियों को लेकर अपनी भूमिका नहीं बदलती है तब तक भाजपा का मनसे के साथ गठबंधन नहीं हो सकता: पाटील 5th January 2021 networkmahanagar 🔊 Listen to this नागपुर: प्रदेश भाजपा अध्यक्ष चंद्रकांत पाटील ने कहा कि जब तक महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (मनसे) परप्रांतियों को लेकर अपनी भूमिका नहीं बदलती है तब तक भाजपा का मनसे के साथ गठबंधन नहीं हो सकता। पाटील ने कहा कि दूसरे राज्यों से रोजगार के लिए महाराष्ट्र में आए लोगों का विरोध और मारपीट भाजपा को स्वीकार नहीं है।सोमवार को पुणे में पत्रकारों से बातचीत में पाटील ने कहा कि परप्रांतियों को लेकर भूमिका बदलने का मतलब हम यह नहीं कह रहे हैं कि स्थानीय लोगों को नौकरी न दिया जाए।राज्य में 80 प्रतिशत भूमिपूत्रों को रोजगार देने का कानून है। इसलिए इस बारे में नई मांग करने का मतलब नहीं है। मनसे का परप्रांतियों को लेकर आखिर किस बात का विरोध है? परप्रांतियों के टैक्सी और रिक्शा चलाने का विरोध है या फिर उनके धंधा करने का विरोध है। अगर ऐसा है कि देश के हर राज्य में मराठी भाषी है। मध्यप्रदेश के जबलपुर और इंदौर में एक-एक लाख मराठीभाषी हैं। पूरा भारत देश एक है। दूसरे राज्यों से पेट भरने के लिए आने वाले लोगों का विरोध करना और उनसे मारपीट करना भाजपा को स्वीकार नहीं है। भाजपा राष्ट्रीय दल है। पाटील ने कहा कि मनसे अध्यक्ष राज ठाकरे से गठबंधन को लेकर अभी कोई चर्चा नहीं हुई है। भाजपा में जिन लोगों का राज ठाकरे से संवाद है वे लोग उनसे चर्चा के लिए बैठेंगे। सत्ता मिली तो पहली बैठक में औरंगाबाद का नाम बदलेंगेपाटील ने कहा कि औरंगाबाद मनपा चुनाव में जनता ने भाजपा को सत्ता दी तो पार्टी मनपा की पहली आम सभा की बैठक में नाम बदलने का प्रस्ताव मंजूर करेगी। पाटील ने कहा कि औरंगाबाद का नाम बदलने को लेकर महानगरपालिका में प्रस्ताव पारित करना पड़ेगा। इसके बाद विधानमंडल और केंद्रीय शहरी विकास मंत्रालय के पास प्रस्ताव भेजना पड़ेगा।पाटील ने कहा कि औरंगाबाद का नाम बदलने को लेकर कांग्रेस ने विरोध किया है। अब शिवसेना को तय करना है कि इस मामले को सुलझाने के लिए राज्य की सत्ता दांव पर लगानी है या नहीं। पाटील ने कहा कि शिवसेना को कांग्रेस को मनाना चाहिए। क्योंकि जितनी शिवसेना को कांग्रेस की जरूरत है। उतनी ही कांग्रेस को शिवसेना की आवश्यकता है। क्योंकि भाजपा का डर दोनों दलों को है। Post Views: 178