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पीएम मोदी ने किया नए संसद भवन का उद्घाटन, सेंगोल को साष्टांग प्रणाम कर लोकसभा अध्यक्ष के आसन के पास किया स्थापित

नयी दिल्ली: लोकसभा अध्यक्ष की कुर्सी के पास ऐतिहासिक ‘सेंगोल’ स्थापित करने के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने नए संसद भवन का उद्घाटन किया। इसके इंटीरियर को तीन राष्ट्रीय प्रतीक (कमल, मोर और बरगद का पेड़) के थीम पर तैयार किया गया है। नए संसद को ‘टाटा प्रोजेक्ट्स लिमिटेड’ द्वारा बनाया गया है।
पीएम मोदी ने रविवार सुबह लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला के साथ नए संसद भवन के उद्घाटन को चिह्न्ति करने के लिए पट्टिका का अनावरण किया। इससे पहले संतों ने विधि-विधान, पूजा-हवन और मंत्रोच्चार के साथ पवित्र ‘सेंगोल’ को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को सौंपा।
प्रधानमंत्री ने लोकसभा अध्यक्ष बिरला के साथ नए संसद भवन में बने लोकसभा चैंबर में जाकर लोकसभा अध्यक्ष के आसन के समीप इस पवित्र ‘सेंगोल’ को स्थापित किया। यह भारत के आजादी के वर्ष यानी 1947 में तमिलनाडु से लाया गया, वही सेंगोल है जिसे 14 अगस्त 1947 को रात के 10:45 बजे के लगभग अंग्रेजों ने सत्ता हस्तांतरण के प्रतीक के तौर पर देश के तत्कालीन और आजाद भारत के पहले प्रधानमंत्री जवाहर लाल नेहरू को सौंपा था।
इससे पहले रविवार सुबह संसद भवन पहुंचने पर लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने प्रधानमंत्री की अगवानी की। इसके बाद प्रधानमंत्री मोदी और लोकसभा अध्यक्ष बिरला ने संसद भवन परिसर स्थित गांधीजी की प्रतिमा पर जाकर उन्हें पुष्पांजलि अर्पित कर प्रणाम किया। महात्मा गांधी को प्रणाम करने के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पूजा-हवन किया। इस दौरान भी लोकसभा अध्यक्ष बिरला उनके साथ बगल में बैठे रहे।
प्रधानमंत्री ने नए संसद भवन के निर्माण और विकास में शामिल कार्यकर्ताओं को शॉल और स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित भी किया।
समारोह की शुरुआत सुबह हवन से हुई। इस अवसर पर 25 राजनीतिक दलों के प्रतिनिधि और मुख्यमंत्रियों और मंत्रियों सहित कई गणमान्य व्यक्ति उपस्थित रहे। पीएम मोदी ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला और कैबिनेट मंत्रियों के साथ नए संसद भवन में ‘सर्व-धर्म’ (सर्व-धार्मिक) प्रार्थना समारोह में भाग लिया।
इस मौके पर केंद्रीय मंत्री राजनाथ सिंह, अमित शाह, एस. जयशंकर और जितेंद्र सिंह, कई राज्यों के मुख्यमंत्री और भाजपा अध्यक्ष जे.पी. नड्डा भी मौजूद हैं।
बता दें कि कांग्रेस सहित 19 विपक्षी दल नए चार मंजिला संसद भवन के उद्घाटन का बहिष्कार कर रहे हैं।

जानें- नए संसद भवन की 5 खास बातें:-
1- नए संसद भवन में भारत की लोकतांत्रिक विरासत को दिखाने के लिए भव्य संविधान कक्ष बनाया गया है। इसके साथ ही सांसदों के लिए लाउंज, पुस्तकालय, कई समिति कक्ष, भोजन क्षेत्र और पर्याप्त पार्किंग स्थान है।

2- नया संसद भवन त्रिकोणीय आकार का है। चार मंजिला यह इमारत 64,500 वर्ग मीटर में फैला है। इसके तीन मुख्य गेट (ज्ञान द्वार, शक्ति द्वार और कर्म द्वार) हैं। VIP लोगों, सांसदों और विजिटर्स के लिए अलग प्रवेश द्वार हैं।

3- नए संसद भवन को बनाने में इस्तेमाल हुए सामग्री को पूरे देश से लाया गया है। सागौन की लकड़ी महाराष्ट्र के नागपुर से मंगाई गई। लाल और सफेद बलुआ पत्थर राजस्थान के सरमथुरा से लाया गया। उत्तर प्रदेश के मिर्जापुर से कालीन, त्रिपुरा से बांस के फर्श और राजस्थान के पत्थर की नक्काशी लगाई गई है। नया संसद भवन भारत की विविध संस्कृति को दर्शाता है।

4- नए संसद भवन में लोकसभा के 888 सदस्यों और विधानसभा के 300 सदस्यों के बैठने की जगह है। आने वाले समय में नया परिसीमन होना है। इसके बाद सांसदों की संख्या बढ़ेगी। पुराने संसद भवन में जगह कम पड़ रही थी। नए संसद भवन को सांसदों की संख्या में होने वाली वृद्धि को ध्यान में रखकर बनाया गया है।

5- नए संसद भवन में सेंट्रल हॉल नहीं है। लोकसभा और राज्यसभा का संयुक्त सत्र लोकसभा कक्ष में बुलाया जाएगा। यहां 1280 सांसदों के बैठने की जगह है।