दिल्लीब्रेकिंग न्यूज़महाराष्ट्रमुंबई शहरशहर और राज्य शराब कोई जरूरी चीज नहीं, हम इस पर क्यों दें कोई आदेश: सुप्रीम कोर्ट 24th July 202024th July 2020 networkmahanagar 🔊 Listen to this नयी दिल्ली: शराब की होम डिलीवरी को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि ये इस्तेमाल की जाने वाली कोई जरूरी चीज नहीं है इसलिए वो इस पर कोई आदेश नहीं देंगे. कोर्ट ने ये बातें ‘महाराष्ट्र वाइन मर्चेंट्स एसोसिएशन’ की तरफ से दायर याचिका की सुनवाई के दौरान कही. कोर्ट ने फिलहाल इस पर कोई फैसला देने से इनकार कर दिया. पुणे और नासिक में शराब की होम डिलीवरी को लेकर ये याचिका दायर की गई थी. पहले भी की थी याचिका खारिजइससे पहले मई महीने में सुप्रीम कोर्ट में शराब की दुकानों को लेकर याचिका दायर की गई थी. इस याचिका की सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने इसे खारिज कर दिया था. सुप्रीम कोर्ट ने कहा था कि ये राज्य सरकारों का नीतिगत मसला है और वो होम डिलीवरी या ऑनलाइन व्यवस्था कर रही हैं. लॉकडाउन के दौरान शराब की बिक्री को लेकर सुप्रीम कार्ट में एक याचिका दायर की गई थी और इसे बंद कराने की मांग की गई थी. क्या थी दलीलेंयाचिका में कहा गया था कि शराब की दुकान खोले जाने से बहुत से लोग सड़कों पर निकल आए हैं, जिससे सोशल डिस्टेंसिंग के नियमों का पालन नहीं हो पा रहा. ऐसे में शराब की सभी दुकानों को बंद कर दिया जाना चाहिए. याचिका की पैरवी कर रहे वकील जे साईं दीपक ने कहा था कि शराब की दुकानों पर सोशल डिस्टेंसिंग का पालन नहीं किया जा रहा है. सुप्रीम कोर्ट ने कहा था कि हम राज्य सरकारों को किसी तरह का आदेश नहीं दे सकते. लेकिन सरकारों को होम डिलीवरी या डायरेक्ट बिक्री जैसी व्यवस्थाओं पर विचार करना चाहिए. Post Views: 121