उत्तर प्रदेशब्रेकिंग न्यूज़शहर और राज्य UP: सोनभद्र की पहाड़ियों में दबा हो सकता है 3 हजार टन सोना, एक्सपर्ट टीम कर रही है सर्वे… 20th February 2020 networkmahanagar 🔊 Listen to this सोनभद्र: सोनांचल के नाम से मशहूर उत्तर प्रदेश के सोनभद्र जिले की पहाड़ियों में एक सर्वे के मुताबिक तीन हजार टन सोना दबे होने की जानकारी प्रकाश में आई है। पिछले कई सालों से खनिज तत्वों की खोज में स्वर्ण पत्थर के साथ लोहा सहित कई खनिज संपदा के मिलने की अटकलों के बीच जमीन के भीतर छिपे विशाल खजाने की अनुमानित शक्ल सामने आ गई है। यूपी सरकार के खजाने में जमीन के भीतर से भारी राजस्व की राह खुल गई है। सोने की मौजूदा कीमत के हिसाब से इतने सोने का मूल्य करीब 12 लाख करोड़ रुपये का है।सोनभद्र की पहाड़ी में लगभग तीन हजार टन सोना दबा है। भू-भौतिकीय सर्वे के दौरान सोनांचल की पहाड़ी में सोने के साथ लोहा सहित भारी मात्रा में दूसरे खनिज भी दबे हैं। जिले के कई भू-भागों में हेलिकॉप्टर से भू-भौतिकीय सर्वे जारी है। इस सर्वेक्षण में विद्युती चुम्बकीय एवं स्पेक्ट्रोमीटर उपकरणों का प्रयोग किया जा रहा है। इन उपकरणों का कुछ भाग हेलिकॉप्टर के नीचे लटका रहता है जो कि जमीन की सतह से 60-80 मीटर की ऊंचाई पर उड़ते हुए सर्वेक्षण करता है। सोनभद्र डीएम एन. राजलिंगम ने कहा इन हेलिकॉप्टर में कुछ उपकरण नीचे लटके रहते हैं, उन्हें देखकर लोग न चिंता करें, न भय।सोनभद्र के सोन पहाड़ी में सबसे ज्यादा 2943.26 टन और जिले के हल्दी ब्लॉक में 646.15 किलो अनुमानित सोना मिला है। सोनभद्र के भू-भाग में यूरेनियम वर्ग के अन्य खनिज तत्वों का भी पता चला है। जिले के छिपिया ब्लॉक में सिलेमिनाइट की दस मीलियन टन की अनुमानित मात्रा छिपी है। इसी तरह जिले के पुलवर, सलईडीह ब्लॉक के कुछ भागों में इस सर्वे के दौरान एंडालुसाइट अब तक पाया गया है। इनकी अनुमानित मात्रा सौ मीलियन टन है। जिले के कुरछा तथा बरवाडीह ब्लॉक में जमीन के अंदर लगभग दस मीलियन टन पोटाश छिपा है। 15 दिनों से हेलिकॉप्टर सर्वेक्षणसोनभद्र डीएम एन. राजलिंगम ने कहा कि जिस जमीन के अंदर यह खनिज संपदा छिपी है, उसके सीमांकन का कार्य गुरुवार को खनिकर्म प्रभारी अधिकारी विजय कुमार मौर्य की अगुवाई में नौ सदस्यीय टीम कर रही है। ई-टेंडरिंग के लिए सीमाकंन का कार्य पूरा होते ही ई-टेंडरिंग किया जाएगा। जिस पहाड़ी में सोना मिला है, उसका रकबा 108 हेक्टेयर है। सोन की पहाड़ियों मे तमाम कीमती खनिज संपदा होने के नाते पिछले 15 दिनों से हेलिकॉप्टर सर्वेक्षण किया जा रहा है।इस सर्वेक्षण का उद्देष्य खनिज अन्वेषण के लिए अधोःस्थलीय भूवैज्ञानिक संरचनाओं के अध्ययन के लिए आंकड़ें एकत्र करना है। सर्वेक्षण प्रयोग किये जाने वाले उपकरणों से विभिन्न तत्वों के सांद्रण, प्राकृतिक चुंबकीय त्रीवता तथा शैलों में उपस्थित चालकता के मान का आंकलन किया जाएगा। सब सुरक्षित वैज्ञानिक उपकरण है तथा इसको हवा में उड़ने के लिए सुरक्षा की दृष्टि से विमानन प्राधिकरण द्वारा प्रमाणित किया गया है। यह सर्वेक्षण बहुत ही अनुभवी एवं दक्षता प्राप्त पेशेवर द्वारा किया जा रहा है।सोनभद्र डीएम ने बताया कि परमाणु खनिज अन्वेषण एवं अनुसंधान निदेशालय, परमाणु ऊर्जा विभाग, भारत सरकार के लिए राष्ट्रीय भू-भौतिकीय अनुसंधान संस्थान (सीएसआईआर-एनजीआरआई), भारत सरकार द्वारा मध्य प्रदेश के सिंगरौली जिले, उत्तर प्रदेश के सोनभद्र जिले, छत्तीसगढ़ के बलरामपुर जिले एवं तथा झारखंड के गढ़वा जिले के आंशिक भू-भागों में हेलिकॉप्टर वाहित भू-भौतिकीय सर्वेक्षण किया जा रहा है। Post Views: 212