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महाराष्ट्र-कर्नाटक सीमा विवाद पर शरद पवार बोले- न लें हमारे धैर्य की परीक्षा, कहा- एकसाथ आये सभी दल

मुंबई: कर्नाटक और महाराष्ट्र सीमा विवाद को लेकर राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) प्रमुख शरद पवार ने कर्नाटक सरकार पर हमला बोला है. पूर्व केंद्रीय मंत्री पवार ने कहा है कि महाराष्ट्र के सीएम एकनाथ शिंदे ने कर्नाटक के सीएम से इस मुद्दे पर बात की है, लेकिन इसके बाद भी उन्होंने इस मुद्दे पर कोई नरमी नहीं दिखाई है. पवार ने कहा कि किसी को भी हमारे धैर्य की परीक्षा नहीं लेनी चाहिए और यह गलत दिशा में नहीं जाना चाहिए.
एनसीपी प्रमुख पवार ने कहा कि महाराष्ट्र-कर्नाटक सीमा विवाद के मुद्दे पर सीएम शिंदे को कोई भी फैसला लेने से पहले सभी राजनीतिक पार्टियों को विश्वास में लेना चाहिए. उन्होंने कहा कि संसद सत्र शुरू होने वाला है. ऐसे में सभी सांसदों से एक साथ आकर इस मुद्दे पर स्टैंड लेने की बात कही है.

देवेंद्र फडणवीस ने की बोम्मई से बात
इससे पहले महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने कर्नाटक के मुख्यमंत्री बोम्मई से बात की और बेलगावी के पास हिरेबगवाड़ी में हुई घटनाओं पर कड़ी नाराजगी जताई. सीएम बोम्मई ने कहा कि दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी. उन्होंने फडणवीस को आश्वासन दिया कि महाराष्ट्र से आने वाले वाहनों की सुरक्षा की जाएगी.

क्या है पूरा विवाद?
गौरतलब है कि महाराष्ट्र और कर्नाटक राज्य के बीच बेलगावी, खानापुर, निप्पानी, ने गाड और कारवार की सीमा को लेकर विवाद है. भाषाई आधार साल 1956 में राज्यों के पुनर्गठन के दौरान महाराष्ट्र के कुछ नेताओं ने मराठी भाषी बेलगावी सिटी, खानापुर, निप्पानी, नांदगाड और कारवार को महाराष्ट्र का हिस्सा बनाने की मांग की थी. आगे चलकर जब यह मामला बढ़ा तो केंद्र सरकार ने सुप्रीम कोर्ट के पूर्व मुख्य न्यायाधीश मेहर चंद महाजन के नेतृत्व में एक आयोग के गठन का फैसला लिया. इसको लेकर कर्नाटक में विवाद शुरू हो गया. कर्नाटक को तब मैसूर कहा जाता था.