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मुंबई: अब 2020 में BMC अस्पतालों में नहीं रहेगी दवाओं की कमी

मुंबई: बीएमसी अस्पतालों में दवाओं की कमी से मरीजों पर बीमारी के दौरान दोहरी मार पड़ती है। बीएमसी अस्पतालों में रोज हजारों मरीज इलाज के लिए आते हैं। कई बार दवाइएं न मिलने के कारण उन्हें भारी परेशानी होती है। मामले की गंभीरता को देखते हुए बीएमसी स्वास्थ्य विभाग के अडिशनल म्युनिसिपल कमिश्नर सुरेश काकाणी ने 2020 में किसी भी मरीज को दवा की कमी से न जूझने देनें का संकल्प लिया है।
काकाणी ने बताया, बीएमसी में आने के बाद मैंने दवाओं की कमी का खूब अध्ययन करके इसके पीछे की कुछ समस्याओं को रेखांकित किया है। इसी आधार पर नए सिरे से तैयारी की जा रही है, ताकि अब मरीजों को दवाओं के लिए परेशान न होना पड़े। उन्होंने कहा, मैंने इस मुद्दे पर दो मीटिंग्स की हैं। इनमें अस्पतालों में लगने वाली दवाओं के स्टॉक और विशेष दवाओं की अधिक खपत जैसे विषयों पर गंभीर चर्चा हुई। हमारा उद्देश्य उन दवाओं की उपलब्धता हर हाल में सुनिश्चित करनी है।

स्टॉक खत्म होने से पहले शुरू होगी प्रक्रिया
दवाओं की अस्पताल में अनुपलब्धता के पीछे दवा खरीदने की प्रक्रिया भी जिम्मेदार है। अक्सर जब स्टॉक खत्म होने को होता है, तब तैयारियां शुरू होती हैं। काकाणी ने बताया कि दवाएं खत्म होने के 6 महीने पहले से नए टेंडर की न केवल तैयारी शुरू करनी है, बल्कि जल्द से जल्द अस्पतालों को उनके यहां लगने वाली दवाओं का स्टॉक भी भेजना होगा।