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अजित पवार बोले- रोजगार दिलाने के लिए पैसे मांगने वाले एनसीपी पदाधिकारियों को जेल में पीसनी पड़ेगी चक्की

मुंबई: प्रदेश के उपमुख्यमंत्री अजित पवार ने एनसीपी कार्यकर्ताओं और पदाधिकारियों को सख्त चेतावनी दी है। उपमुख्यमंत्री ने दो टूक कहा है कि रोजगार दिलाने के लिए पैसे मांगने वाले राकांपा के पदाधिकारियों को जेल में चक्की पीसनी पड़ेगी।
रविवार को बारामती में उपमुख्यमंत्री ने मुख्यमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम अंतर्गत ‘मेरा व्यवसाय, मेरा अधिकार’ उपक्रम का शुभारंभ किया। बारामती विद्या प्रतिष्ठान के सभागार में आयोजित कार्यक्रम में उपमुख्यमंत्री ने कहा कि मुख्यमंत्री रोजगार सृजन योजना का लाभ मापदंड पूरा करने वाले युवाओं को मिलेगा। इसलिए युवाओं को रोजगार हासिल करने के लिए किसी को पैसे देने की जरूरत नहीं है। यदि राकांपा के किसी पदाधिकारी पर रोजगार दिलाने के लिए पैसे मांगने का आरोप लगा और वह साबित हुआ तो उसे जेल जाना पड़ेगा। इसके बाद जेल में चक्की पीसते रहिए। इसलिए सभी लोग सीधे रास्ते पर काम करिए। उपमुख्यमंत्री ने कहा कि मुख्यमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम का लाभ लेने के लिए किसी मध्यस्थ और दलाल की जरूरत नहीं है। उन्होंने कहा कि यदि किसी ने पैसे की मांग की तो सीधे बारामती के तहसीलदार, प्रांतधिकारी, पुलिस अफसरों, मेरे कार्यालय अथवा मुझे को बताइए। फिर मैं देखता हूं कि पैसे मांगने वाले का क्या करना है। उपमुख्यमंत्री ने कहा कि इधर-उधर मेरे साथ कोई भी फोटो निकालता है फिर कहता है मैं अभी दादा (अजित) को मिलकर आया हूं। चलिए इतना पैसा दीजिए। मैं आपका काम करता हूं। ऐसी शिकायतें मिलती हैं। मैं यह सहन नहीं करूंगा। मैं स्पष्ट कर रहा हूं कि योजना के लिए कोई मध्यस्थ और दलाल नहीं है। उपमुख्यमंत्री ने कहा कि इस योजना के तहत युवक को केवल सरकार से अनुदान और बैंकों से कर्ज हासिल करने के लिए स्वयं रोजगार शुरू न करे। यदि कोई रोजगार शुरू करता है तो उसे बीच में न छोड़े।

5 साल में एक लाख सुक्ष्म व लघु उद्योग स्थापित करने का लक्ष्य
उपमुख्यमंत्री पवार ने कहा कि मुख्यमंत्री रोजगार सृजन योजना राज्य सरकार का महत्वाकांक्षी कार्यक्रम है। इस कार्यक्रम के तहत पांच साल में एक लाख सुक्ष्म व लघु उद्योग स्थापित करने का लक्ष्य है। इसके लिए बजट में पर्याप्त राशि का प्रावधान किया जाएगा। इससे रोजगार सृजन के साथ ही ग्रामीण अर्थव्यवस्था को गति मिल सकेगी। उपमुख्यमंत्री ने कहा कि मुख्यमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम योजना के तहत अनुसूचित जाति, जनजाति, महिला, विकलांग, पूर्व सैनिकों को सहूलियत दी गई है। योजना को प्रभावी रूप से लागू करने जिला स्तरीय समीक्षा व समन्वय समिति गठित की गई है। इस योजना के जरिए युवाओं को उत्पादन, सेवा उद्योग, कृषि पूरक व्यवसाय, कृषि पर आधारित उद्योग, ई-परिवहन व व्यवसाय, चलता-फिरता बिक्री केंद्र शुरू करने समेत अन्य व्यवसायों में मौका मिल सकेगा।