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Aam Budget 2023: देश का बजट; विपक्षीय पार्टियों ने साधा मोदी सरकार पर निशाना

नयी दिल्ली: केंद्रीय वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने बुधवार को केंद्रीय बजट संसद में पेश किया. इस बजट को लेकर अब अलग-अलग प्रतिक्रियाएं सामने आ रही हैं. राज्य सरकारों ने भी इस बजट का स्वागत किया है. महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री व वित्तमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने इस बजट को सबके लिए हितकारी और खास कर मिडिल क्लास की उम्मीदों पर खरा उतरने वाला बजट बताया है.
फडणवीस ने कहा, देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और वित्तमंत्री निर्मला सीतारमन का मैं आभार मानता हूं. उन्होंने जो बजट पेश किया है वो अमृतकाल का सबके लिए हितकारी बजट है. जो लोग विकास की राह में पिछड़ गए हैं, जो देश के युवा हैं, किसान हैं, छोटे उद्योग, मिडिल क्लास- इन सबका बजट में खयाल किया गया है. उन्होंने कहा कि खासतौर से इंफ्रास्ट्रक्चर के लिए 10 लाख करोड़ का निवेश रखा गया है. साथ ही रेलवे के लिए 2 लाख 30 करोड़ के निवेश की व्यवस्था की गई है. अगर इसकी तुलना 2013-14 के बजट से करें तो 9 फीसदी से ज्यादा निवेश किया जा रहा है. अगले 25 सालों में जो विकसित भारत हमें बनाना है, उस दिशा में जाने की राह इस बजट में दिखाई गई है.

नितिन गडकरी बोले- न्यू इंडिया की बुनियाद तैयार करेगा
केंद्रीय परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने बजट की खासतौर से इसलिए तारीफ की है कि इसमें इंफ्रास्ट्रक्चर के लिए 10 लाख करोड़ रुपए का प्रावधान रखा गया है जो फ्यूचर इंडिया को ध्यान में रख कर बनाया गया है.
गडकरी ने कहा कि पीएम मोदी के नेतृत्व में वित्तमंत्री निर्मला सीतारमन ने जो बजट पेश किया है वे अमृतकाल में न्यू इंडिया की बुनियाद तैयार करेगा. 130 करोड़ भारतीयों के जीवन को बेहतर बनाएगा. सबका साथ, सबका विकास और सबका प्रयास के जरिए जनभागीदारी को बढ़ाने वाला बजट है. यह मजबूत अर्थव्यवस्था बनाने वाला टेक्नोलोजी ड्रिवेन और नॉलेज ड्रिवेन इकॉनॉमी को लाने वाला बजट है.

महाराष्ट्र के जख्मों पर नमक छिड़कने वाला बजट
वहीं, शिवसेना उद्धव बालासाहेब ठाकरे गुट ने इस बजट को महाराष्ट्र के जख्मों पर नमक छिड़कने वाला बजट बताया. युवा नेता व् पूर्व मंत्री आदित्य ठाकरे ने कहा, चुनावी सर्वे में कर्नाटक में बीजेपी को सीटें मिलती हुई नजर नहीं आ रही हैं. इसलिए कर्नाटक के लिए बजट खासतौर पर मेहरबान दिखाई दे रहा है. लेकिन महाराष्ट्र से इतने उद्योग बाहर चले गए, फिर भी राज्य को कुछ नहीं दिया गया. संदेश साफ है. मुंबई समेत महाराष्ट्र को घुटनों के बल पर लाना है और अंगूठा दिखाना है.
आदित्य ने कहा, युवाओं के लिए नेशनल डिजिटल लाइब्रेरी की बात की गई है. महिलाओं की बचत योजना की बात की जा रही है. कौन सी बड़ी बात और नई बात है. महिलाओं के लिए कोई क्रांतिकारी सुधार तो नहीं है. युवाओं की बात करें तो आज पूरी दुनिया गूगल में समा गई है. महाराष्ट्र में चुनाव नहीं है इसलिए यहां कुछ नहीं दिया.

बीजेपी का लक्ष्य BMC है : संजय राउत
इस बजट से मुंबई और महाराष्ट्र की उम्मीदों को लेकर शिवसेना सांसद संजय राउत ने आज दिल्ली में मीडिया से बातचीत करते हुए कहा कि महाराष्ट्र से ढेर सारे प्रोजेक्ट्स बाहर चले गए. इंटरनेशनल फाइनांस सेंटर जैसा प्रोजेक्ट अहमदाबाद गया. कई गरीब राज्यों का पेट मुंबई भर रही है. मुंबई में कई प्रोजेक्ट अधूरे हैं. उम्मीद है इसकी भरपाई की जाएगी. संजय राउत ने पब्लिक सेक्टर के विनिवेश और बैंकों के डूबते कर्ज की ओर भी कटाक्ष किया.
राउत ने कहा कि देश को लूटा जा रहा है. इस लूट में मुंबई का भी पैसा है. सिर्फ बीएमसी चुनाव को देखते हुए पीएम मोदी बार-बार मुंबई दौरे पर आ रहे हैं. महाविकास आघाड़ी के शुरू किए हुए कामों का उद्घाटन कर रहे हैं. महीने में दूसरी बार मुंबई आ रहे हैं. साफ है कि उनका लक्ष्य BMC है. सिर्फ चुनाव के लिए मुंबई ना आएं. इस बजट में मुंबई और महाराष्ट्र को कुछ मिले, यही उम्मीद है.
शिवसेना के ठाकरे गुट ने केंद्र की बीजेपी सरकार पर हमला बोलते हुए कहा कि देश की आम जनता चंद लाख रुपए के कर्ज की किश्त कैसे भरे, यह सोच-सोच कर परेशान है और लाखों करोड़ रुपए डुबाने वाले कंपनियों के मालिक डूबे कर्ज की डकार लेते हुए मस्त और बिंदास हैं. सरकार कागजी घोड़े नचाने में और कंपनी मामलों की मिनिस्ट्री कर्ज वसूली के केस बनाने में लगी हुई है. ऐसा ही चलता रहा तो यह देश की अर्थव्यवस्था के लिए बड़ा खतरा साबित हो सकता है. लेकिन इन सब बातों पर विचार करने का सरकार के पास समय ही नहीं है.

सीएम योगी ने क‍िया बजट का स्‍वागत, बोले- आर्थिक महाशक्ति बनाने की दिशा में मील का पत्थर साबित होगा
उत्तर प्रदेश के सीएम योगी आद‍ित्‍यनाथ ने आम बजट 2023 को 130 करोड़ देशवासियों की सेवा का लक्ष्य बताया है. योगी आद‍ित्‍यनाथ ने ट्वीट कर कहा क‍ि आज प्रस्तुत हुए आम बजट 2023-24 में ‘नए भारत’ की समृद्धि का संकल्प है, अंत्योदय का विजन है, 130 करोड़ देश वासियों की सेवा का लक्ष्य है. वर्तमान केंद्रीय बजट गांव, गरीब, किसान, नौजवान व महिलाओं समेत समाज के हर वर्ग की आशाओं और राष्ट्र के समग्र उत्थान की अपेक्षाओं को पूरा करने वाला है. इतना ही नहीं सीएम योगी ने यह भी कहा क‍ि निःसंदेह, यह बजट भारत को आर्थिक महाशक्ति बनाने की दिशा में मील का पत्थर साबित होगा.

अख‍िलेश यादव बोले- बीजेपी अपने बजट का दशक पूरा कर रही है, जब जनता को पहले कुछ न दिया तो अब क्या देगी?
आम बजट की घोषणाओं के बीच यूपी के पूर्व मुख्‍यमंत्री एवं समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अख‍िलेश यादव ने भाजपा सरकार पर जमकर हमला बोला. अख‍िलेश यादव ने ट्वीट कर कहा क‍ि भाजपा अपने बजट का दशक पूरा कर रही है पर जब जनता को पहले कुछ न दिया तो अब क्या देगी. भाजपाई बजट महंगाई व बेरोज़गारी को और बढ़ाता है. किसान, मजदूर, युवा, महिला, नौकरीपेशा, व्यापारी वर्ग में इससे आशा नहीं निराशा बढ़ती है क्योंकि ये चंद बड़े लोगों को ही लाभ पहुंचाने के लिए बनता है.

सीएम ममता बनर्जी ने बजट को बताया चुनावी, बोलीं- टैक्स स्लैब में बदलाव से नहीं मिलेगी मदद
बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने बुधवार को पेश हुए आम बजट को चुनावी बताया है. उन्होंने कहा कि केंद्रीय बजट 2024 लोकसभा चुनाव को ध्यान में रखते हुए तैयार किया गया है. केंद्र सरकार द्वारा आयकर स्लैब में बदलाव से किसी की मदद नहीं होगी. उन्होंने कहा कि यह बजट देश की बेरोजगारी के मुद्दे को संबोधित नहीं करता है.
ममता ने बताया कि गरीब वंचित रहेंगे, जबकि इस बजट से केवल एक वर्ग के लोगों को लाभ होगा. सीएम ने कहा कि केंद्रीय बजट पूरी तरह अवसरवादी और जनविरोधी है। इसके साथ ही टीएमसी सांसद शत्रुघन सिन्हा ने कहा कि संसद में पेश किए गए केंद्रीय बजट में ‘हम दो हमारे दो’ पर एक बड़ा फोकस था और मध्यम वर्ग के लोगों के लिए कुछ खास नहीं था. उन्होंने कहा कि इस बजट को आगामी लोकसभा चुनाव को देखते हुए पेश किया गया है.

कॉपी-पेस्ट वाला बजट: आदित्य ठाकरे
बजट पर प्रतिक्रिया देते हुए शिवसेना (UBT) नेता आदित्य ठाकरे ने कहा कि यह बजट ठेकेदारों के लिए है, उन्होंने कहा कि महाराष्ट्र को बजट में कुछ भी नहीं मिला है. उन्होंने सवाल किया कि अगर बीएमसी कोई बड़ी परियोजना नहीं करने जा रही है तो बढ़ा बजट क्यों है? आदित्य ने आगे कहा, यह कॉपी-पेस्ट वाला बजट लगता है. जब शिवसेना सत्ता में आई तो इसने मुंबईकरों का पैसा बचाया और बीएमसी को लाभ में लाया. मुंबईकरों ने पिछले 25 वर्षों से हम पर विश्वास जताया है.

जानें- आम बजट में क‍िसे क्‍या म‍िला?
बजट में वित्तमंत्री सीतारमण ने नया टैक्स स्लैब की घोषणा की है।
0- 3 लाख – कोई टैक्स नहीं
3-6 लाख – 5 फीसद टैक्स
6-9 लाख – 10 फीसद टैक्स
9-12 लाख – 15 फीसद टैक्स
12-15 लाख – 20 फीसद टैक्स
15 लाख से ज्यादा की इनकम पर 30 फीसद टैक्स
बजट में नौकरीपेशा लोगों को बड़ी राहत दी गई है। 7 लाख की आय तक कोई टैक्स नहीं। आयकर छूट का दायरा बढ़ाया गया।

वित्त मंत्री ने रेलवे के लिए 2.4 लाख करोड़ का बजट पेश किया है, जो साल 2013-14 के मुकाबले रेलवे का ये बजट लगभग 9 गुना ज्यादा है।
हालांकि, इस बार उम्मीद जताई जा रही थी कि मोदी सरकार के आखिरी पूर्ण बजट में नई ट्रेनों व नए रेलवे ट्रैक को लेकर भी अहम घोषणा हो सकती है, लेकिन वित्त मंत्री ने इसे लेकर कोई एलान नहीं किया है। पिछली बार वित्त मंत्री ने 3 सालों में 400 नई वंदे भारत ट्रेनों के शुरु करने की घोषणा की थी। इसके अलावा पिछले रेल बजट के एलान के दौरान वित्तमंत्री ने राष्ट्रीय रेल योजना 2030 की भी घोषणा की थी। इस योजना के तहत रेलवे के विकास के लिए प्लान तैयार किया गया था।

डिफेंस सेक्टर को 5.94 लाख करोड़ रुपये का बजट आवंटित किया गया है।
यह कुल बजट का आठ फीसद है।
बजट 2023-24 में रक्षा क्षेत्र में आत्मनिर्भरता पर जोर रहेगा।
आज भारत दुनिया की पांच बड़ी अर्थव्यवस्थाओं में एक है।

2 लाख करोड़ की क्रेडिट गारंटी स्कीम
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने घोषणा है कि MSME क्षेत्र में कई बदलाव किए हैं। महामारी से प्रभावित MSME को राहत दी जाएगी। एमएसएमई के लिए संविदागत विवादो के निपटान के लिए स्वैच्छिक समाधान योजना लाई जाएगी। एमएसएमई के लिए 2 लाख करोड़ की क्रेडिट गारंटी स्कीम लाई जाएगी।

MSME को 3.7 लाख की राहत
MSME क्षेत्र को टैक्स में राहत दी जाएगी। इस साल के बजट में 5 प्रतिशत से कम नकदी वाले MSME को छूट दी जाएगी। MSME को 3.7 लाख की राहत दी जाएगी।

पीएम आवास योजना के परिव्यय को 66% बढ़ाकर 79,000 करोड़ किया गया।
2014 से स्थापित मौजूदा 157 मेडिकल कॉलेजों के साथ सहस्थान में 157 नए नर्सिंग कॉलेज स्थापित किए जाएंगे।

पशुपालन, डेयरी और मत्स्य पालन पर ध्यान देते हुए कृषि ऋण लक्ष्य को बढ़ाकर 20 लाख करोड़ रुपये किया जाएगा।

बच्चों और किशोरों के लिए राष्ट्रीय डिजिटल पुस्तकालय स्थापित किया जाएगा।
पूंजी निवेश परिव्यय 33% बढ़ाकर 10 लाख करोड़ रुपये किया जा रहा है, जो कि सकल घरेलू उत्पाद का 3.3% होगा।

महिलाओं, बुजुर्गों, करदाताओं को बड़ी सौगात
इस दौरान सरकार ने मध्यम वर्ग और नौकरीपेशा लोगों को आयकर मोर्चे पर राहत तो लघु बचत योजनाओं के तहत निवेश सीमा बढ़ाकर बुजुर्गों और नई बचत योजना के जरिये महिलाओं को सौगात दी।
इसके साथ ही सरकार ने बुनियादी ढांचे पर खर्च में 33 फीसदी की बढ़ोतरी करने का ऐलान किया।
नई कर व्यवस्था के तहत एक अप्रैल से व्यक्तिगत आयकर छूट सीमा को बढ़ाकर सात लाख रुपये कर दिया गया है। इसका मतलब है कि अगर किसी व्यक्ति की आय सात लाख रुपये है, उसे कोई कर नहीं देना होगा। अब तक यह सीमा पांच लाख रुपये है।
सरकार ने साथ ही कर ‘स्लैब’ को सात से घटाकर पांच किया गया है। साथ ही अधिकतम अधिभार की दर 37 प्रतिशत से घटाकर 25 प्रतिशत करने के बाद कर की दर 42.7 प्रतिशत से घटकर लगभग 39 प्रतिशत रह जाएगी।

बचत योजना की सीमा हुई दोगुनी
वित्त मंत्री ने वरिष्ठ नागरिकों को भी राहत दी। इसके तहत वरिष्ठ नागरिक बचत योजना के तहत जमा सीमा 15 लाख रुपये से बढ़ाकर 30 लाख रुपये कर दी गयी है। वहीं मासिक आय योजना के तहत जमा सीमा बढ़ाकर नौ लाख रुपये की गयी है।
वित्त मंत्री ने महिलाओं के लिये अलग से नई बचत योजना ‘महिला सम्मान बचत पत्र’ की घोषणा की। इसमें दो वर्ष के लिये दो लाख रुपये तक की बचत पर 7.5 प्रतिशत ब्याज मिलेगा।

सीमा शुल्क में कटौती की घोषणा
सीतारमण ने अपना 5वां पूर्ण बजट ऐसे समय पेश किया जब वैश्विक चुनौतियों के कारण अर्थव्यवस्था की रफ्तार धीमी पड़ रही है और सामाजिक क्षेत्रों पर खर्च बढ़ाने के साथ स्थानीय स्तर पर विनिर्माण को प्रोत्साहन बढ़ाने की जरूरत है।
उन्होंने मोबाइल फोन कल-पुर्जों तथा हरित ऊर्जा को बढ़ावा देने के लिये लीथियम बैटरी और अन्य ऐसे सामान के लिये सीमा शुल्क में कटौती की भी घोषणा की। यह अगले साल अप्रैल-मई में होने वाले लोकसभा चुनाव से पहले सरकार का अंतिम पूर्ण बजट है। अगले साल फरवरी में अंतरिम बजट यानी लेखानुदान पेश किया जाएगा।
निर्मला सीतारमण ने अपने बजट भाषण में कहा कि इस बजट में पिछले बजट में रखी गई नींव पर सतत निर्माण करते हुए ‘भारत @100’ के लिये खींची गई रेखा पर आगे बढ़ते रहने की उम्मीद की गई है। उन्होंने कहा कि भारतीय अर्थव्यवस्था ‘चमकता सितारा’ है। चालू वित्त वर्ष में सात प्रतिशत जीडीपी वृद्धि का अनुमान है जो बड़ी अर्थव्यवस्थाओं में सर्वाधिक है।

15.43 लाख करोड़ रुपये लेना पड़ेगा कर्ज
सीतारमण ने कहा कि कोविड-19 महामारी और रूस-यूक्रेन युद्ध के कारण वैश्विक नरमी के बावजूद देश की अर्थव्यवस्था पटरी पर है। बजट में कुल व्यय 7.4 प्रतिशत बढ़कर 45 लाख करोड़ रुपये रहने का अनुमान रखा गया है। राजकोषीय घाटा जीडीपी का 5.9 प्रतिशत रहने का अनुमान रखा है। यह चालू वित्त वर्ष के 6.4 प्रतिशत के अनुमान से कम है। इसका मतलब है कि सरकार को कुल 15.43 लाख करोड़ रुपये कर्ज लेना पड़ेगा।
सीतारमण ने कहा कि 2023-24 के बजट में सात प्राथमिकताएं रखी गयी हैं। बजट में पशुपालन, डेयरी और मत्स्यपालन पर जोर के साथ कृषि कर्ज का लक्ष्य बढ़ाकर 20 लाख करोड़ रुपये किया गया है। मझोले और छोटे उद्यमों के लिये कर्ज गारंटी को लेकर 9,000 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है।
रेलवे के लिये 2.40 लाख करोड़ रुपये के पूंजीगत व्यय का प्रावधान किया गया है। यह अब तक का सबसे अधिक पूंजीगत व्यय है। साथ ही 2013-14 में किये गये व्यय के मुकाबले करीब नौ गुना अधिक है।
बुनियादी ढांचा और उत्पादक क्षमता में निवेश बढ़ाने का मकसद वृद्धि और रोजगार को गति देना है। छोटे और मझोले शहरों (टियर दो और टियर तीन) में ढांचागत सुविधाएं तैयार करने के लिये शहरी बुनियादी ढांचा विकास कोष (यूआईडीआईएफ) बनाया जाएगा।

सरकार ने बैटरी ऊर्जा भंडारण प्रणाली पर दिया जोर
बजट में ऊर्जा बदलाव यानी स्वच्छ ऊर्जा की ओर तेजी से कदम बढ़ाने और शुद्ध रूप से शून्य कार्बन उत्सर्जन के लिये 35,000 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है। बैटरी ऊर्जा भंडारण प्रणाली को बढ़ावा देने का भी प्रस्ताव किया गया है। इसके तहत 4,000 मेगावॉट घंटा (MWH) क्षमता की बैटरी भंडारण प्रणाली को व्यावहारिक बनाने के लिये वित्त उपलब्ध कराया जाएगा।
वित्त मंत्री ने बताया कि लद्दाख से 13,000 मेगावॉट बिजली के पारेषण के लिये व्यवस्था तैयार करने को लेकर 20,700 करोड़ रुपये खर्च किये जाएंगे। सस्ते मकान उपलब्ध कराने की प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत व्यय 66 प्रतिशत बढ़कर 79,000 करोड़ किया गया है।

हवाई अड्डों, हेलीपोर्ट और जलीय हवाईअड्डों का होगा पुनरुद्धार
बजट में बुनियादी ढांचे के तहत 50 अतिरिक्त हवाई अड्डों, हेलीपोर्ट और जलीय हवाईअड्डों को आधुनिक रूप दिया जाएगा। शिक्षा के प्रचार-प्रसार के तहत राष्ट्रीय डिजिटल पुस्तकालय बनाया जाएगा। इसका मकसद सभी क्षेत्रों में सभी आयु वर्ग के लोगों के लिये गुणवत्तापूर्ण पुस्तकें उपलब्ध कराना है।
मूडीज इनवेस्टर सर्विस ने बजट के बारे में कहा कि उच्च महंगाई और वैश्विक चुनौतियों के बीच वित्त वर्ष 2023-24 के लिये कम राजकोषीय घाटे का लक्ष्य सरकार की वित्तीय स्थिरता और अर्थव्यवस्था को समर्थन देने की प्रतिबद्धता को बताता है।