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नींद में बेसुध लोगों को निगल गया धुआं, तकियों का सहारा लेकर कूदने लगे लोग

नयी दिल्ली, दिल्ली के अर्पित पैलेस होटल में लगी आग ने चुपके से नींद में सोए 17 लोगों की जिंदगी लील ली। तड़के चार बजे लगी आग ने लोगों को संभलने तक का मौका नहीं दिया। आग जैसे ही चौथी मंजिल पर फैली लोग बदहवास हो गए। कोई तार के सहारे होटल के नीचे उतरने की कोशिश करने लगा तो कोई तकियों के सहारे जान बचाने के लिए कूद रहा था। एक शख्स होटल से नीचे गिरता विडियो में भी कैद हुआ है।
होटल की आग को बुझाने में देरी की बात भी सामने आ रही है। बगल वाले होटल में ही रुके हुए दूसरे चश्मदीद भुपेन से पता चला कि आग बुझाने वाली बड़ी गाड़ी (ब्रुंटो स्काइलिफ्ट) की सीढ़ी अटक गई थी, जिसकी वजह से दमकल विभाग के लोगों को ऊपर जाने में देरी हुई। भुपेन के मुताबिक, उसका कोई पेच अटक गया था, जिसकी वजह से सीढ़ी ऊपर ही नहीं जा रही थी और इससे आग बुझाने में देरी हुई। एक अन्य चश्मदीद ने बताया कि एंम्बुलेंस के आने तक आग लगभग बुझ चुकी थी और सिर्फ धुआं बचा था। उनके मुताबिक, 17 में से एक शख्स की जान छत से कूदने की वजह से ही हुई।
मरने वालों में ज्यादातर लोग दिल्ली आए टूरिस्ट व अन्य लोग थे। म्यांमार और कोच्चि से आए लोग भी इनमें शामिल हैं। इस घटना में ज्यादातर मौतें धुएं से दम घुटने के कारण हुई हैं। होटल के एसी कमरों की खिड़कियां (शीशे की विंडो) पैक थीं, जिस वजह से धुआं बिल्डिंग से बाहर नहीं निकल पाया। कमरों में भरता गया। गहरी नींद में होने की वजह से होटल में ठहरे गेस्ट धुएं और आग की चपेट में आते गए। अस्पताल पहुंचे कई शव जली हालत में भी मिले, लेकिन माना जा रहा है कि दम घुटने की वजह से वे लोग बेसुध होकर लपटों की चपेट में आए। बता दें कि यह आग करोलबाग के गुरुद्वारा रोड पर स्थित होटल अर्पित पैलेस में लगी थी। होटल में काम करनेवाले कर्मचारी हरि सिंह ने बताया कि वहां कुल 65 कमरे हैं। इनमें कुल 120 लोग रुके हुए थे और 30 लोग स्टाफ के थे। घटना पर चीफ फायर ऑफिसर अतुल गर्ग ने बताया कि उन्होंने सुबह करीब 8 बजे तक आग पर काबू पा लिया था। उन्होंने कुल 35 लोगों को जिंदा बाहर निकालने की बात भी कही।
यह होटल बेसमेंट के अलावा चार मंजिला है। इसकी रसोई ऊपर बनी है। बताया जा रहा है कि आग पहली मंजिल से भड़की, जो ऊपर के फ्लोर पर बढ़ती गई। आग लगने की वजह शॉर्ट सर्किट मानी जा रही है। कारणों की जांच फिलहाल पुलिस को करनी है। एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि लापरवाही का केस दर्ज करके होटल मालिक को पूछताछ के लिए बुलाया गया है।


“डक्टिंग में आग लगने की वजह से वह कमरों तक पहुंच गई। लाइसेंस देने के लिए सभी नियमों का पालन हुआ, निरीक्षण के बाद ही होटल को लाइसेंस मिला था।”
-बालन मणि, दिल्ली होटल असोसिएशन के वाइस प्रेसिडेंट

वहीं दिल्ली होटल असोसिएशन के वाइस प्रेसिडेंट बालन मणि ने कहा कि आग डक्टिंग में लगी थी, जिसकी वजह से वह कमरों तक पहुंच गई। उनके मुताबिक, होटल में कोई खामी नहीं थी और निरीक्षण के बाद ही होटल को लाइसेंस मिला था।