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MP: कमलनाथ ने राज्यपाल को सौंपा इस्तीफा, बीजेपी की बनेगी सरकार

भोपाल: सुप्रीम कोर्ट के आदेश के मुताबिक आज शाम पांच बजे फ्लोर टेस्ट होना था लेकिन उससे पहले सीएम कमलनाथ ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर इस्तीफे का ऐलान कर दिया। उन्होंंने बीजेपी पर जमकर आरोप लगाए। इस दौरान सीएम कमलनाथ भावुक नजर आए। उन्होंने कहा कि राज्य में बीजेपी को 15 साल मिले थे जबकि मुझे अब तक सिर्फ 15 महीने मिले हैं। ढाई महीने लोकसभा चुनाव और आचार संहिता में गुजरे। इन 15 महीनों में राज्य का हर नागरिक गवाह है कि मैंने राज्य के लिए कितना काम किया। लेकिन बीजेपी को ये काम रास नहीं आए।

15 महीनों का रिपोर्ट कार्ड पेश
इस्तीफा देने से पहले कलनाथ अपनी 15 महीने की सराकर का रिपोर्ट कार्ड पेश किया। उन्होंने बीजेपी के 15 साल से तुलना करते हुए कहा कि उन्हें जनता ने 5 साल के लिए चुना था, लेकिन उन्हें 15 महीने ही काम करने दिया गया। उन्होंने कहा कि इन 15 महीनों में उन्होंने प्रदेश की तस्वीर बदलने की पूरी कोशिश की। हमेशा विकास में विश्वास रखा।

बीजेपी पर निकाला जमकर भड़ास
इस्तीफे से पहले कमलनाथ बीजेपी पर बरसते चले। गौमाता के संरक्षण के गौशाला बनाई गई लेकिन भाजपा को ये रास नहीं आया। प्रदेश को भयमुक्त बनाया, लेकिन भाजपा को ये रास नहीं आया। युवाओं को रोजगार देने की कोशिश की गई, लेकिन भाजपा को ये रास नहीं आया। भाजपा के शासन में भी मध्य प्रदेश में माफिया राज पनपा। कमलनाथ ने अपने पद से इस्तीफा देने के बाद इशारों-इशारों में बीजेपी पर निशाना साधा। उन्होंने संकतों में राज्य की राजनीति पर भी इशारा किया। कमलनाथ ने कहा कि कल के बाद परसों भी आता है।

मध्य प्रदेश की मौजूदा स्थिति
230 सदस्यीय मध्य प्रदेश विधानसभा में अभी विधायकों की संख्या 206 है। 24 सीटें रिक्त हैं। ऐसे में बहुमत का आंकड़ा 104 पर आकर रुकता है। बीजेपी के 107 विधायक हैं जबकि कांग्रेस के पास स्पीकर मिलाकर 92 विधायक हैं। मौजूदा आंकड़े के तहत बहुमत का आंकड़ा 104 का है। पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने विधायकों को डिनर पर बुला लिया है। अब बीजेपी की सरकार बनने के आसार साफ हो गए हैं।