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फर्जी दस्तावेजों के आधार पर फ्लैट लेने वालों पर होगी कार्रवाई: सीएम शिंदे

मुंबई: मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने विधानसभा मानसून सत्र में कहा कि मीरा-भायंदर स्थित जनता नगर झोपड़पट्टी के निवासियों को केंद्र सरकार की जवाहरलाल नेहरू राष्ट्रीय शहरी उत्थान मिशन योजना (BSUP) के तहत मुफ्त में फ्लैट दिए गए थे। इस योजना में कुछ लाभार्थियों के फर्जी दस्तावेजों के आधार पर फ्लैट लेने की जानकारी सामने आई है। इन फ्लैटों को जब्त किया जाएगा और इस प्रकरण की जांच आर्थिक अपराध शाखा से कराई जाएगी। सीएम शिंदे ने कहा कि राज्य सरकार की भूमिका बाकी बचे दो हजार झोपड़ाधारकों को न्याय देने की है।

विधानसभा सदस्य प्रताप सरनाईक ने इस मामले में ध्यानाकर्षण सूचना पेश की थी। मुख्यमंत्री शिंदे ने कहा कि बीएसयूपी के तहत मीरा-भायंदर महानगरपालिका की तरफ से जनता नगर में झोपड़पट्टीवासियों को मूलभूत सुविधाओं सहित फ्लैट बनाने की कार्रवाई की गई थी। हालांकि, कई लोगों के फर्जी कागजात के आधार पर फ्लैट हासिल करने की बात सामने आई है। इसकी जांच आर्थिक अपराध शाखा की तरफ से की जाएगी और संबंधित लोगों पर कार्रवाई की जाएगी।

मुख्यमंत्री ने कहा कि बाकी बचे झोपड़ाधारकों को फ्लैट देने के लिए क्लस्टर या पीपीपी मॉडल में से कोई एक के तहत परियोजना को पूरा किया जाएगा। इस मामले में राजस्व विभाग से अनापत्ति प्रमाणपत्र प्राप्त होने के तुरंत बाद यह कार्रवाई की जाएगी।

मनपा स्ट्रीट फर्नीचर का ठेका रद्द
मुंबई महानगरपालिका की स्ट्रीट फर्नीचर खरीद के लिए 263 करोड़ रुपए की टेंडर प्रक्रिया में गड़बड़ी की शिकायत पर संज्ञान लेते हुए राज्य सरकार ने इसे रद्द कर दिया गया है। भाजपा प्रदेश कोषाध्यक्ष मिहीर कोटेचा ने इसके लिए मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस का अभिनंदन किया है। वहीं स्ट्रीट फर्नीचर घोटाले मामले को उठाने वाले युवासेना प्रमुख आदित्य ठाकरे ने कहा कि स्ट्रीट फर्नीचर का ठेका रद्द कर दिया गया है। हालांकि, मुंबई महापालिका की तरफ से इस बारे में कोई जवाब नहीं आया है। मनपा को इस बारे में जवाब देना चाहिए। उन्होंने कहा कि मनपा स्ट्रीट फर्नीचर घोटाले की जांच को लेकर हमने राज्यपाल को पत्र लिखा था। इस संबंध में आज भी पत्र लिखा गया है। यह स्पष्ट होना चाहिए कि यह ठेका रद्द किया गया है या इसे मनपा ने होल्ड किया है?